Sunday, 1 May 2011

Ek Ladki.....

एक लड़की प्यारी सी
शुरू करती है अपनी ज़िन्दगी
अपने लोगों के साथ 
उनके अरमानों के साथ और कुछ 
सपनों के साथ

एक लड़की मासूम सी
हमेशा जुटी रहती है
दूसरों को खुश रखने में
चाहे खुद ख़ुशी से या फिर
ओढ़ के मुस्कराहट होठों पे

एक लड़की मजबूर सी
हमेशा रखती है अपने पैर
हकीकत की ज़मीन पे
और बाँध लेती है अपने मन को
अपने सीने में ही..........

एक लड़की समझदार सी...
पहन के फ़र्ज़ का चोला
अपने तन पे और साथ ही
नकाब डाल लेती है अपने मन पे
रोकने को उसे मचलने से.........

एक लड़की अकेली सी...
बैठ कर किसी कोने में
बहाते हुए आंसूं
लगी रहती है इकट्ठे करने को
टूटे सपनों की किरचें.......

एक लड़की उम्र के पड़ाव पे...
अपने फ़र्ज़ पूरे कर के
जीना चाहती है उन टूटे सपनों को
फिर तलाशती है खुद को
अपने ही किसी अंश में..............

                                          - Priyanka

7 comments:

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  2. nice one

    p.s: hindi mein kaise likha ;)

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  3. Beautiful piece.
    Thanks for reading my stuff ! Glad that you liked it.

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  4. Lovely Priyanka.. This is wat is called as Talent...:P Loved Your Posts..:) Great going.., dnt stop thinking..;)

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  5. Sensible writing ... precise to the point.
    Nice work
    Raj

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